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भोपाल। मप्र सरकार ने एमबीए के समकक्ष कोर्स की 1.30 लाख रुपये स्कॉलरशिप होने के कारण जिले में पिछले दो साल में ऑल इंडिया काउंसिल फॉर टेक्निकल एजुकेशन (एआईसीटीई) के पोस्ट ग्रेजुएशन डिप्लोमा ऑफ मैनेजमेंट (पीजीडीएम) कोर्स के कॉलेज छह से बढ़कर 32 होने की तैयारी में हैं। इस कोर्स में कॉलेज स्वयं ही एडमिशन से लेकर परीक्षा और रिजल्ट जारी करते हैं। ऐसे में किसी यूनिवर्सिटी का भी कोई रोल नहीं है। इस गड़बड़ी को रोकने के लिए अब मप्र शासन स्कॉलरशिप की राशि 40 हजार स्र्पये कर दी है। मप्र शासन इस कोर्स के लिए सिर्फ 25 हजार रुपये ही स्कॉलरशिप देता था। इस कारण इस कोर्स में एडमिशन भी गिने-चुने होते थे, लेकिन दो साल पहले पीजीडीएम कोर्स की स्कॉलरशिप बढ़ाकर 1.30 लाख रुपये कर दी गई, जिससे कॉलेजों की संख्या बढ़ने लगी। इसके लिए एआईसीटीई में आवेदन भी पहुंच गए हैं।
दूसरी तरफ इस कोर्स की स्कॉलरशिप संबंधी गड़बड़ियों को रोकने के लिए शासन ने चार माह पहले जिला प्रशासन के माध्यम से कॉलेजों का निरीक्षण भी कराया था और अब इस कोर्स के लिए छात्रवृत्ति को सिर्फ 40 हजार स्र्पये कर दिया गया है। प्राइवेट और सरकारी विश्वविद्यालयों द्वारा एमबीए कोर्स का संचालन किया जाता है। इसके लिए एआईसीटीई का अप्रूवल और यूनिवर्सिटी की संबद्धता हासिल करने के बाद कॉलेज में एडमिशन लिए जाते हैं। पीजीडीएम कोर्स मैनेजमेंट से जुड़ा हुआ है और इसके संचालन के लिए सिर्फ एआईसीटीई से अप्रूवल की आवश्यकता पड़ती है। इसमें कॉलेज स्वयं ही एडमिशन लेते हैं। इसके बाद सिलेबस से लेकर परीक्षा कराने और रिजल्ट जारी करने तक का रोल कॉलेज का ही होता है। पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण के सचिव सह आयुक्त रमेश थेटे का कहना है कि पीजीडीएम कोर्स की फीस बहुत ज्यादा है और प्रदेश सरकार के पास उतना बजट नहीं है। इसके चलते हमने इस कोर्स की स्कॉलरशिप 40 हजार रुपये कर दी है। जहां तक ऐसे कॉलेजों की संख्या बढ़ने की बात है, तो यह एक अलग विषय है। इसे भी चेक कराया जा रहा है।
मप्र सरकार की बड़ी घोषणा,
• Krishan bihari sharma
पीजीडीएम के लिए 1 लाख 30 हजार नहीं अब सिर्फ 40 हजार रुपए मिली स्कॉलरशिप